हिन्दी पोर्टल का खेल

अभी कुछ दिन पहले याहू ने अपना हिन्दी पोर्टल चालू किया है, काफी अच्छी साइट बनायी है। मुझे सबसे अच्छा लगी इसकी साज-सज्जा, अभी इस पर विज्ञापनों का भन्डार नही है, शायद अभी याहू उतने विज्ञापनों का जुगाड़ ही नही कर सका हो। कुछ भी हो साइट बहुत अच्छी दिख रही है। याहू ने हिन्दी के मामले मे तो दूसरों को पछाड़ ही दिया है, याहू का यह हिन्दी पोर्टल सही मायनों मे इन्टरनैट पर हिन्दी के लिए एक मील का पत्थर साबित होगा।

उसके बाद याहू ने भारत के शहरों पर अलग अलग पन्ने बनाए है। हिन्दी के लिए अभी दिल्ली का पन्ना उपलब्ध है। सबसे बड़ी बात, याहू ने इस पन्ने के लिए सामग्री प्रयोक्ताओं को जुगाड़ने के लिए खुली छूट दी है। यानि लाओ,पकाओ, सजाओ, खुद भी खाओ और हमे भी खिलाओ। सामग्री के लिए हिन्दी चिट्ठाकरों से ज्यादा मुफ़ीद कौन हो सकता है, सो याहू ने देसी पंडित पर हिन्दी चिट्ठों की चर्चा को उठा लिया। अब देसी पंडित जो, एक समय बन्द होने वाला था, उसे दूसरों ने सहारा देकर सम्भाल लिया, वहाँ पर हिन्दी चर्चा विनय भाई करते थे। जो शायद करते करते थक गए तो नवम्बर के बाद वहाँ की हिन्दी चर्चा पर ताला लटका है। अब याहू महाराज हिन्दी ब्लॉग की खबर दें वो भी अधूरी, तो सारे चिट्ठाकारों मे खलबली मचना स्वाभाविक ही थी। अब चैट पर जो मिलता, इन अधूरे चिट्ठों का रोना रोता, तो जनाब सबने हमारे कन्धे पर बन्दूक रखी और हमने फायर कर दिया गया। हमने उनके फीडबैक फोरम पर लिख मारा, उम्मीद तो कम ही थी कि इतनी जल्दी जवाब आएगा, इसलिए हमने शुकुल को देसी पंडित पर चर्चा के लिए घेर ही लिया था, जिसके लिए वो तैयार भी हो गए थे। अब शुकुल साप्ताहिक चर्चा देसी पंडित पर करेंगे( इसलिए सभी लोगों से निवेदन है कि शुकुल से बना कर रखे)। इधर याहू वाले अच्छे लोग निकले, उन्होने ना केवल जवाब दिया, बल्कि देरी से जवाब देने के लिए माफी भी मांगी और नारद के फीड शामिल करने का वादा भी कर दिया। आज ही वहाँ से जवाब आया है नारद को शामिल करते है, शीघ्रातिशीघ्र । अब देखते है कि इनका शीघ्रातिशीघ्र कितनी जल्दी आता है। नारद से फीड आने के बाद, मेरा विश्वास है कई लोगों का यह होमपेज बन जाएगा।

इधर गूगल बाबा ने भी कमर कस ली है, लेकिन गोपनीयता की शर्तो की वजह से मै किसी भी चीज का खुलासा नही कर सकता, इसलिए बस इन्तज़ार करिए और मजा लीजिए। हिन्दी पोर्टल का खेल तो अभी शुरु ही हुआ है।

अपडेट : वादे के मुताबिक याहू ने नारद से लेटेस्ट ब्लॉग के फीड दिखाने शुरु कर दिए है। धन्यवाद याहू!

20 Responses to “हिन्दी पोर्टल का खेल”

  1. हर तरफ से एक साथ अच्छे समाचार आ रहे हैं, आपके प्रयासों के लिये बधाई। 🙂

  2. लो जी दिन फिरने लगे हिन्दी के। अब वो दिन दूर नहीं जब हिन्दी का चारों तरफ डंका बजेगा।

    इसलिए सभी लोगों से निवेदन है कि शुकुल से बना कर रखें।

    बताने के लिए शुक्रिया जी, बिल्कुल रखेंगे। 😉

  3. बहुत बढ़िया जानकारी. आज की चिट्ठाचर्चा में जो कहा कि फुरसतिया जी को हमारी आरतियों की खिलाफ आरती लिखने के लिये पाप लगेगा, वो लाईन वापस ली जाती है. उनसे बना कर रखने के लिये. 🙂 🙂 कल ही यह बात बता देते, तो कभी न लिखते.

  4. “…इधर गूगल बाबा ने भी कमर कस ली है, लेकिन गोपनीयता की शर्तो की वजह से मै किसी भी चीज का खुलासा नही कर सकता, इसलिए बस इन्तज़ार करिए और मजा लीजिए। हिन्दी पोर्टल का खेल तो अभी शुरु ही हुआ है।…”

    वाह! आज का दिन तो आपने बना ही दिया. सचमुच घूरे के दिन बहुर गए…

  5. याहू पर हिन्दी ब्लॉग से संबंधित सामग्री के संदर्भ में मैंने भी फीडबैक लिखा था, जिसका उत्तर आ गया जिसे मैंने चिट्ठाकार समूह पर पोस्ट कर दिया है। वे नारद की फीड लेने के लिए तैयार है। यदि देशीपंडित को भी पुनर्जीवित करने की कवायद चल रही है तो यह अच्छा ही है। लेकिन देशीपंडित के साथ-साथ चिट्ठा चर्चा पर भी रौनक बनी रहे तो बेहतर होगा।
    शुकुल जी से तो वाकई बना कर रखना पड़ेगा। 🙂 आशा है कि वह पुराने गिले-शिकवे भुलाकर मेरे चिट्ठे का भी ध्यान रखेंगे। विनय जी से तो मेरा कभी कोई पंगा भी नहीं हुआ था, लेकिन मैं आखिर तक बाट ही जोहता रह गया कि कभी उनकी नजर मेरे चिट्ठे पर इनायत हों और मेरी किसी पोस्ट की वह देशीपंडित पर चर्चा करें।

  6. याहू का यह कदम हिन्दी और भारतीय भाषाओं के लिये सुन्दर भविष्य का संकेत दे रहा है। हिन्दी से याहू को, और याहू से हिन्दी को लाभ और महत्व मिलेगा।

  7. याहू को धन्यवाद पत्र भी लिख दिया है। नारद और सभी चिट्ठाकारों को बधाई!

  8. याहू के इलाक़े में हिंदी की इमारत खड़ी होने पर हम सब उत्‍साहित हैं। आपने नेट पर हिंदी में सक्रिय लोगों की जमात के लिए संघर्ष करके वहां भी नारद की जगह बनवायी। श्रेय आपको और नारद के संचालकों को। बधाई हो बधाई।

  9. बधाई, साल 2007 काफी महत्त्वपूर्ण बनने वाला है.
    हिन्दीवालो के चहरों पर चमक साफ दिख रही है. 🙂

  10. याहू पर ‘नारद’ की फ़ीड देख कर बहुत अच्छा लग रहा है. पूरी टीम हो ढ़ेर सारी बधाई!!

  11. अरे वाह ! बहुत बढिया । बधाई बधाई !

  12. यााााााााहू. ये तो ख़ुशख़बरी है.. ख़बरिया जीतू भाई को इसके लिए बधाई. क्योंकि उन्हीं के सद्प्रयासों से अंतर्जाल पर हिन्दी नित नई उंचाइयों को छू रही है. मैं ज़ोर से याहू चिल्लाकर खुशियां मना सकता हूं. वो भी हिन्दी में ..
    आप पूछोगे कैसे याहू तो याहू है वो हिन्दी में कहो या अंग्रेज़ी में.. तो भैये.. मैं शम्मी कपूर स्टाइल में डांस करते हुए गा रहा हूं.. चाहे कोई मुझे ब्लॉगिया कहे.. कहने दो जी.. कहता रहे.. याहूूूूूूूूूू

  13. जीतू भाई और नारद की पूरी टीम को बधाई ।

  14. जीतू भाई बधाई हो आपकी मेहनत रंग लायी

  15. और जान पडता है कि आप जो बात बता नही रहे थे गूगल बाबा के बारे मे वो भी अब खुल गयी है। ये देखिये :
    http://news.google.co.in/news?ned=hi_in

    अब तो हिन्दी मे समाचार पडने के लिये जगह जगह भटकना नही पडेगा। बधाईयां 🙂

  16. My earlier comment did not appear. Are comments moderated?

  17. Sahi kaha, ab dekho webdunia par bhi to blog shuru ho gaya hai. Hindi kaa bolbala hai bhayaa…

  18. Wah bhai wah, Hind ki bhasha Hindi ko sabhi jagah sam-maan mil raha hai. India walo ab hindi bhasha ke bal par aage badho jaise chinese aur russian aur american badhe hai usi tarj par indian language “Hindustani Bhasha” ke saath sam-maan se aage badho.

    Bharat Mata ki Jai

  19. अपनी व्यस्ततम जिंदगी से इतना समय निकाल लेते हैं बहुत बड़ी बात है. मैंने भी अभी – २ चिट्ठा लिखने की कोशिश शुरू की है, पता है :

    http://www.vidyasagarji.blogspot.com

  20. Atul saxena mainpuri on जनवरी 7th, 2012 at 6:45 am

    i like it……..